3 RULES TO UNDERSTAND THE ACTIONS OF DRAVYS ---
3 RULES TO UNDERSTAND THE ACTIONS OF DRAVYS ---
AN EXAMPLE -- पिप्पली की जो अवसथा है वह विचित्र प्रत्ययारब्ध तो है क्योंकि जो action है that is not in line with रस गुण वीर्य विपाक but one of them is dominant and and that dominant is manifesting it's action in spite के दूसरे विरोधी तत्व भी मौजूद हैं।
अब ये देखिये
प्रभाव एक ऐसी अवस्था या action है जो के द्रव्य के रस गुण वीर्य या विपाक किसी के भी कारण नही है व इन सब से भिन्न है
ये विचित्र प्रत्यारब्ध है
याने के द्रव्य कारमुक्ता के तीन प्रमुख नियम हो सकते है
1
सामान्य ,,, in line with ras guna virya viphal... Saamanya prtyaarabdh ya prakriti sam samveta
2.
Vishesh...Any one dominant manifesting it's action.... vikriti visham sameta
3.
When 1 and 2 not applicable.....Dravya act by it's PRABHAAV. This is vichitra prtyarabdha
Vaidya Pawan Madaan
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